35 वर्षीय शिल्पा ने 24 वर्षीय प्रेमी मोहम्मद शकील के साथ विदेश जाने की पूरी प्लानिंग कर ली थी. इस से पहले कि वह विदेश जाती, उस के पति सुनील कुमार खेमका का उस के ही घर में मर्डर हो गया. आखिर किस ने और क्यों किया सुनील का मर्डर?
एसएचओ वेदपाल ने एक नजर फांसी से झूलते सुनील पर डाली. वह चुन्नी से झूल रहा था. उस के बाद जब उन्होंने चारों ओर नजर घुमाई, तब चौंक पड़े. दीवारों पर खून के छींटे भी पड़े थे. बिस्तर पर भी खून की बनी धारी थी और वहां खून सने कपड़े पड़े थे, जो सुनील के ही थे. और तो और, कमरे में रखी अलमारी से ले कर फर्श तक पर खून के छींटे थे.
यह देखते ही एसएचओ समझ गए कि मामला सुसाइड का नहीं, हत्या का है, लेकिन इसे आत्महत्या का रूप देने की कोशिश की गई है. मृतक की तेजधार हथियार से हत्या करने के बाद फांसी पर लटकाया गया है. इस मामले की सूचना उन्होंने हनुमानगढ़ के एसपी डा. राजीव पचार को दे दी. एसपी ने तुरंत एएसपी बनवारी लाल और सीओ (सिटी) अरविंद बेरड़ को घटनास्थल पर भेज दिया. उन्होंने भी घटनास्थल का बारीकी से मुआयना किया. उन्हें भी मामला योजनाबद्ध तरीके से की गई हत्या का लगा. उस के बाद एफएसएल टीम, डौग स्क्वायड एवं एसओबी टीम ने पूरे घर का निरीक्षण कर सबूत जुटाए.
कहानी राजस्थान के हनुमानगढ़ टाउन की रामसिंह कालोनी में रहने वाली युवती शिल्पा खेमका (35) से शुरू होती है. बेहद सुंदर, आकर्षक और हमेशा बनीठनी, सजीसंवरी रहने वाली शिल्पा साड़ी पहनती थी तो उस की चाल से छरहरी देह की कमर में गजब की लोच आ जाती थी. वह दूसरी साधारण औरतों या जींस टीशर्ट वाली लड़कियों से एकदम अलग दिखती थी. और फिर उस का यौवन एक नजर में ही राह चलते लोगों की नजरों में आ जाता था. शिल्पा एक कोचिंग सेंटर में नौकरी करती थी.
उस रोज शिल्पा हमेशा की तरह रिसैप्शन पर आ कर बैठ गई थी. दराज से रजिस्टर निकालने के लिए उस का लौक खोल रही थी. सिर नीचे था. उसी समय एक स्टूडेंट आ कर बोला, ”हैलो मिस! गुड मार्निंग!’’
”मिस… कौन बोला?’’ शिल्पा ने चौंकते हुए सिर उठाया, ”अच्छा तो तुम हो. लेकिन यह क्या मजाक है शकील, कभी ‘मैडम’ तो कभी ‘मैम!’…और आज मैं ‘मिस’ हो गई!’’ शिल्पा उस की तरफ मुसकराती हुई बोली.
”आज आप एकदम मिस की तरह लग रही हैं, इसलिए मैं ने ऐसा कहा.’’ मोहम्मद शकील बोला.
तब तक शिल्पा रजिस्टर निकाल चुकी थी और उस रोज आने वाले स्टूडेंट्स के अटेंडेंस के पेज पर तारीख दर्ज करती हुई बोली, ”बताओगे तभी तो समझ पाऊंगी कि मैं मिस कैसे लग रही हूं.’’
”मिस का अर्थ होता है कुंवारी युवती या लड़की… और…!’’ शिल्पा बीच में ही बोल पड़ी.
”और वो कहते हैं न अरे! ट्रेन ‘मिस’ हो गई! या फिर भूल हो जाने पर कैसे कहते हैं अरे मिस हो गया, एकदम दिमाग से उतर गया था. जरा भी याद नहीं रहा. मिस का मतलब याद और चूक हो जाना भी होता है.’’ शकील ने समझाया.
”एक ही वर्ड के इतने अर्थ! मैं तो बस कामचलाऊ अंगरेजी ही जानती हूं. इतनी गहराई से एकएक वर्ड के बारे में कहां समझ पाती हूं. मैडम और मैम का अर्थ भी बता दो.’’ शिल्पा बोली.
”उस के बारे में भी विस्तार से बता दूंगा, लेकिन आज नहीं…अभी क्लास शुरू होने वाली है. सर आते ही होंगे. यहां देखेंगे तो नाराज हो जाएंगे.’’ शकील बोला और रजिस्टर में सिग्नेचर कर जाने लगा.
”लगता है तुम्हारी पढ़ाई अच्छी चल रही है. अच्छी बात है.’’ शिल्पा सिर्फ इतना ही बोल पाई.
इस तरह शकील पर फिदा हुई शिल्पा
शकील के जाते ही शिल्पा ने अपने चेहरे पर आंखों के सामने आ चुकी लट को हटाया और बुदबुदाने लगी, ”तो मिस का मतलब कुंवारी होता है! …तो क्या मैं शादीशुदा नहीं दिखती हूं!’’ इसी के साथ उस के चेहरे पर एक मुसकान फैल गई.
मोबाइल से सेल्फी लेती हुई बोल पड़ी, ”अच्छा, अब समझी, मेरा सिंदूर छिपा हुआ है.’’ शिल्पा 24 वर्षीय मोहम्मद शकील को कई सप्ताह से कोचिंग में आते हुए देख रही थी. वह हमेशा समय से आता था. कभी देरी से नहीं आया था. वह धानमंडी हनुमानगढ़ टाउन के फाच्र्यून कोचिंग सेंटर में विदेश जाने के लिए आईलेट्स यानी इंटरनैशनल इंगलिश लैंग्वेज टेस्टिंग सिस्टम की तैयारी कर रहा था. शिल्पा की जल्द ही शकील से जानपहचान हो गई थी.
उन के बीच कुछ देर के लिए पढ़ाई के अलावा बातचीत भी हो जाती थी. शकील शिल्पा को मैम कह कर बुलाता था, जबकि अधिकतर दूसरे स्टूडेंट ‘मैडम’ कहते थे. हालांकि कई बार शकील भी उसे मैडम बोल देता था. पहली बार शिल्पा को किसी ने न केवल ‘मिस’ कहा था, बल्कि उस का बारीकी से अर्थ भी समझा दिया था. इसे ले कर शिल्पा बारबार सोचने लगी. यह कहें कि उस रोज वह शकील के अंगरेजी ज्ञान को ले कर हैरान हो गई थी. जब तक शकील क्लास खत्म कर वापस नहीं आया, तब तक उसे वह बारबार याद आता रहा.
करीब 3 घंटे बाद जैसे ही शकील जाने का टाइम नोट करवाने के लिए शिल्पा के पास आया, वह चहकती हुई बोल पड़ी, ”आज तुम ने क्याक्या पढ़ा?’’ शकील शिल्पा के अचानक इस तरह बोलने पर हैरान हो गया. ऐसा उस ने पहली बार देखा था. मुसकरा कर बोला, ”मुझे मिस किया न!’’
…और फिर शकील ने टाइम बताया और चला गया. शिल्पा उसे जाते हुए कुछ समय तक देखती रही. उस दिन के बाद से शिल्पा को शकील का बेसब्री से इंतजार रहने लगा था. वह जब भी आता, शिल्पा उस से बात करने की कोशिश करती. कभी पढ़ाई की तो कभी उस की तैयारी के बारे में पूछ बैठती थी! …या फिर उस की नौकरी और कामधंधे के बारे में पूछने लगती थी.
यही नहीं, वह उस से अंगरेजी सिखाने का आग्रह भी करने लगी थी. शिल्पा की पढ़ाई के प्रति जिज्ञासा और मिलनसार व्यवहार देख कर शकील भी उस से प्रभावित हो गया था. उसे शिल्पा से बात करते हुए अच्छा लगने लगा था. जब समय मिलता या रिसैप्शन पर शिल्पा अकेली होती, तब वह उस से इधरउधर की बातें करने लगता था.
शादीशुदा हो कर भी थी कुंवारियों जैसी चंचलता
एक दिन शकील ने उस के परिवार के बारे में पूछ लिया, लेकिन शिल्पा ने ड्यूटी के वक्त अपने बारे में कुछ भी बताने से इनकार कर दिया. साथ ही उस ने मार्केट के कैफे में चल कर बात करने का प्रस्ताव रख दिया. शकील तुरंत ऐसे तैयार हो गया, जैसे वह उस के लिए पहले से इंतजार कर रहा हो. उसी रोज दोपहर बाद दोनों पहली बार मार्केटिंग कौंपलेक्स के कैफे में मिले. शकील ने 2 कौफी का आर्डर दे कर चिप्स के साथ कुकीज का पैकेट मंगवा लिया. जबकि शिल्पा ने भी अपनी तरफ से चाउमिन का आर्डर कर दिया.
उस रोज दोनों पहली बार करीब 50 मिनट एक साथ बैठे. इस बीच वे कौफी की चुस्कियां लेने और नूडल्स खाने के साथसाथ एकदूसरे से अपनीअपनी बातें भी शेयर करते रहे. उन के बीच कई तरह की बातें होती रहीं. इसी सिलसिले में शिल्पा ने बताया कि वह बहुत ही साधारण परिवार से है. उस का पति सब्जी बेचता है. ईरिक्शा पर सब्जियों की दुकान लगाता है. वह सुंदर, शिक्षित और आकर्षक दिखती है. लोगों से अच्छी तरह से बातचीत कर लेती है. इस कारण कोचिंग में उसे रिसैप्शनिस्ट की नौकरी मिल गई है.
बातचीत में शकील ने महसूस किया कि शिल्पा एक अतिमहत्त्वाकांक्षी युवती है. विवाहित हो कर भी उस में कुंवारेपन की चंचलता बरकरार है. वह अपने बूते जीवन में नए मुकाम को हासिल करना चाहती है. उसे एक मौके और किसी सहारे की तलाश है. कुछ इसी तरह जब उसे शकील के बारे में मालूम हुआ कि वह पढ़ाई विदेश जाने के लिए कर रहा है, तब वह उस से और भी प्रभावित हो गई. बातोंबातों में शकील ने बताया कि वह विदेश जा कर अच्छी नौकरी करना चाहता है.
कुछ साल तक पैसा कमा कर दोबारा अपने शहर लौट आएगा. अगर सब कुछ ठीकठाक रहा तो वह विदेश में ही बस जाएगा. अपना घर बसाएगा. मौज की जिंदगी बिताएगा. आहें भरते हुए शिल्पा ने कहा था कि वह भी कुछ ऐसा ही चाहती है, लेकिन एक सब्जी बेचने वाले से उस की ख्वाहिशें पूरी होने की कोई उम्मीद नहीं दिखती हैं.
इस के बाद तो शिल्पा शकील को पाने के सपने देखने लगी. तो उधर शकील का झुकाव भी शिल्पा की तरफ हो गया. शिल्पा ने महसूस किया कि दोनों के इस लव अफेयर में पारिवारिक और सामाजिक स्तर पर कई बाधाएं आ सकती हैं. एक बाधा उन के बेमेल धर्म की हो सकती है तो दूसरी बाधा उस के विवाहित होने की भी आ सकती है. उन्हें साथ रहने में समाज और परिवार से हमेशा तिरस्कार ही मिलेगा. इस का असर उस की नौकरी, रोजगार पर भी पड़ सकता है. तो फिर क्यों न वह भी शकील के साथ ही विदेश चली जाए.
दोनों के मन में खूबसूरत और मजेदार जिंदगी वाले भविष्य की ललक थी. उन की महत्त्वाकांक्षाओं का मेल हो चुका था. साथ ही उन के बीच प्यार के बीज का अंकुरण भी हो गया था. उन का अकसर मिलनाजुलना होने लगा. वे काफी समय तक साथ गुजारने लगे. शिल्पा के मन में भी विदेश जाने की चाहत जाग गई. किंतु उस के सामने सवाल था कि उस के लिए पैसा कहां से आएगा.
इसी बीच दोनों ने एकदूसरे को पूरी तरह से समर्पित कर दिया. उन के बीच शारीरिक संबंध भी बन गए. उस के बाद से शिल्पा की शकील के प्रति दीवानगी और भी बढ़ गई. कहने को तो दोनों का संबंध अवैध था, लेकिन शिल्पा शकील की जिंदगी के साथ असीम सुख की कल्पना करने लगी और उसे जायज बनाने के लिए उस के साथ विदेश जाने की योजना में शामिल हो गई.
शकील के दिल में शिल्पा का प्यार कितनी गहराई तक था, इस का अंदाजा भले ही शकील को नहीं भी हो, लेकिन वह उस की हर बात बड़ी आसानी से मान लेती थी. शकील ने उसे विदेश जाने के लिए पति की जमापूंजी और प्रौपर्टी इस्तेमाल करने की बात कही. यह बात शिल्पा के दिमाग में बैठ गई, लेकिन सब से बड़ा सवाल था कि वह इस बारे में पति से कैसे बात कर सकती थी? यही उस के सामने एक बड़ी समस्या थी. जबकि शकील इस के लिए उसे बारबार उकसाने लगा था.
इस तरह बनी विदेश जाने की योजना
शकील ने एक दिन शिल्पा से अपनी नई योजना के बारे में बताया. उसे सुनते ही शिल्पा चौंक गई. तुरंत बोल पड़ी, ”नहींनहीं, यह नहीं हो सकता.’’
”तो फिर विदेश जाने का सपना छोड़ दो,’’ शकील ठेठ लहजे में बोला.
”वह भी नहीं हो सकता. कोई दूसरा तरीका बताओ.’’ शिल्पा ने कहा.
”दूसरा कुछ भी मेरी नजर में नहीं है.’’ शकील बोला.
”लेकिन इस में काफी खतरा है.’’ शिल्पा ने आशंका व्यक्त की.
”तुम से अधिक खतरा तो मेरे ऊपर होगा. मैं रिस्क लेेने को तैयार हूं और तुम ऐसे कह रही हो, जैसे वह सब केवल मेरे लिए है.’’
”मुझे थोड़ा सोचने दो, कल मिलती हूं. मैं ही किसी दूसरे तरीके के बारे में सोचती हूं.’’ शिल्पा बोली और अपने घर लौट आई. शिल्पा का 38 वर्षीय पति सुनील खेमका मूलरूप से पश्चिम बंगाल के 24 परगना जिला स्थित चोरसता गांव का रहने वाला था. उस के मातापिता और भाईबहन पश्चिम बंगाल में ही रहते थे. जबकि सुनील पत्नी शिल्पा और 3 बच्चों के साथ राजस्थान के जिला हनुमानगढ़ रामसिंह कालोनी में रहता था. दोनों की 12 साल पहले शादी हुई थी. रोजगार के सिलसिले में सुनील और शिल्पा हनुमानगढ़ आ गए थे.
सुनील ने सब्जी बेचने का काम शुरू कर लिया था. उस से उस की अच्छी आय होने लगी थी. फिर उस ने इसे ही अपना धंधा बना लिया था. वह सुबहसुबह मंडी जा कर सब्जियां खरीद लाता था और फिर उसे ईरिक्शे पर सजा कर कालोनियों में बेच दिया करता था. इस काम से होने वाली आमदनी से उस ने जल्द ही अपने लिए एक घर भी बना लिया था. शिल्पा गोरे रंग की एक खुबसूरत युवती थी. वह खुले विचारों वाली थी. वक्त के साथ वह 3 बच्चों की मां बन गई थी, लेकिन उस के रूपयौवन में कोई फर्क नहीं आया था. बल्कि उस का बदन पहले से कहीं अधिक मादक बन गया था. चालढाल में सैक्स अपील नजर आती थी.
उस ने पति की मरजी से ही धनमंडी स्थित कोचिंग सेंटर में रिसैप्शनिस्ट की नौकरी की थी. हालांकि पहले तो पति ने इस के लिए मना किया, लेकिन बाद में उस की नौकरी के लिए राजी हो गया. कारण, उस ने 12वीं तक पढ़ाई कर रखी थी और बच्चों के स्कूल चले जाने के बाद वह घर में बोर होती रहती थी.शिल्पा घर का सारा काम निपटा कर टाइम पर कोचिंग सेंटर चली जाती थी और ड्यूटी खत्म होते ही सीधा घर आ जाती थी. इस तरह से उस के दिन का समय अच्छी तरह से बीतने लगा था.
प्रेमी पर शिल्पा क्यों करने लगी अंधा विश्वास
कोचिंग सेंटर में जल्द ही उस ने अपनी मोहक मुसकान से वहां आनेजाने वाले सभी स्टूडेंट्स को प्रभावित कर दिया था. उन्हीं में शकील भी था. उस ने आईलेट्स की कोचिंग के लिए दाखिला लिया था. इस पढ़ाई के बारे में शिल्पा ने जब उस से पूछा था, तब उस ने बड़ी शालीनता के साथ बताया था. शकील ने बताया था कि जिन देशों की अंगरेजी मुख्य भाषा है, उन देशों में रहने, पढऩे और काम करने के लिए अंगरेजी भाषा का टेस्ट देना जरूरी होता है. अंगरेजी के कई सारे टेस्ट है, जिन में से इंटरनेशनल इंगलिश लैंग्वेज सिस्टम (आईलेट्स) सब से अधिक प्रसिद्ध है.
शकील ने यह भी बताया कि ये टेस्ट उन लोगों के लिए डिजाइन किया गया है, जिन की अंगरेजी मुख्य भाषा नहीं है. जैसे भारतीय, पाकिस्तानी, बांग्लादेशी, नेपाली, आदि. ये लोग जब उन देशों में रहने, पढऩे या काम करने जाते हैं, जहां की मुख्य भाषा अंगरेजी है. तो वहां के लोगों से बातचीत करने और वहां काम करने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है. इस टेस्ट में अंगरेजी से जुड़ी बेसिक योग्यता की जांच हो जाती है, इसलिए विदेश जाने के लिए यह सीखना बहुत जरूरी है.
उस ने अपना पूरा नाम मोहम्मद शकील बताया था. शिल्पा उस के किसी भी बात को अच्छी तरह से समझाने के तरीके से प्रभावित हो गई थी. उस के दिलोदिमाग पर 24 वर्षीय शकील के बांकेपन का भी असर हो चुका था, लेकिन व्यस्तता की वजह से उन के बीच शुरुआत में नजदीकियां नहीं बन पाई थीं. हालांकि जल्द ही उन के बीच आकर्षण बढ़ गया और वे न केवल कैफे में मिलनेजुलने लगे, बल्कि वासना में बहक भी गए.
दूसरी तरफ शिल्पा के पति सुनील को पैसा बचाने की अच्छी आदत थी. उस ने घर बनाने के अलावा लाखों रुपए के सोने के जेवर भी खरीद रखे थे. बैंक बैलेंस भी अच्छा बना लिया था. इन बातों की जानकारी शकील को भी हो चुकी थी. सुनील भले ही साधारण सब्जीवाला था, लेकिन वह थोक में सब्जी का काम भी करने लगा था. कोरोना लौकडाउन में उस ने सब्जी बेच कर कर अच्छी आमदनी कर ली थी.
एक हफ्ते की छुट्टियों के बाद शिल्पा ने 15 अक्तूबर, 2023 को सेंटर जौइन कर लिया था. शकील उस से मिलते ही पूछ बैठा, ”क्या हुआ? सब कुछ खैरियत तो है न! बहुत बक्त लगा दिया सोचने में!’’ शकील उत्सुक हो गया था.
”कैफे चलते हैं, वहीं बात करती हूं.’’ शिल्पा बोली और रिसैप्शन का काम निपटाने लगी.
”ठीक है, शाम 3 बजे का समय ठीक रहेगा. तब तक मेरी क्लास भी खत्म हो जाएगी.’’ शकील बोला.
तय समय पर शकील और शिल्पा करीब सप्ताह भर बाद अपनी पुरानी 2 कुरसियों के साथ कोने वाली छोटी गोल टेबल पर मिले. पहले की तरह बैरा उन का आर्डर ले जा चुका था.
”क्या तय किया तुम ने?’’ शकील ने पूछा.
”तुम्हारी योजना पर काम करूंगी, लेकिन ध्यान रहे उस में कोई चूक नहीं होनी चाहिए. मेरे लिए बहुत रिस्की है.’’ शिल्पा बोली.
”चिंता मत करो, मैं आज ही अपने दोस्त से बात कर पूरी योजना टाइमिंग के साथ कल डिसकस कर लूंगा.’’ इस तरह से शकील की योजना पर शिल्पा ने हामी भर दी थी.
किस ने की शिल्पा के पति की हत्या
19 अक्तूबर, 2023 को शिल्पा के घर में सुबहसुबह मातम का माहौल बन गया था. शिल्पा और उस के बच्चे रो रहे थे. कारण बच्चों का पिता सुनील खेमका अपने कमरे में चुन्नी के सहारे फांसी के फंदे से झूल रहा था. इस की सूचना स्थानीय थाने में मिल गई थी. वहां से एसएचओ वेदपाल श्योराण अपनी टीम के साथ घटनास्थल पर पहुंच गए थे.
मृतक सुनील खेमका की पत्नी शिल्पा खेमका से पुलिस ने घटना के बारे में पूछताछ की गई. सिसक रही शिल्पा ने घटना से अनजान बनते हुए कहा कि वह अपने बच्चों के साथ दूसरे कमरे में सो रही थी. उसे इस बारे में कुछ नहीं मालूम. वह जब इस कमरे में आई, तब पति को फंदे पर लटके देखा. इतना कह कर वह फिर से रोने लगी. इस घटना की जानकारी हनुमानगढ़ में ही रहने वाले शिल्पा के पिता किशन को भी हो गई थी. उन्होंने पश्चिम बंगाल में रह रहे सुनील के पिता गोविंद खेमका को भी फोन से खबर दे दी.
विदेश के बजाय प्रेमी संग जेल गई शिल्पा
पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया. अगले रोज 20 अक्तूबर को पश्चिम बंगाल से सुनील के पिता आ गए और उन्होंने अज्ञात लोगों के खिलाफ थाने में हत्या की रिपोर्ट दर्ज करवा दी. पोस्टपार्टम के बाद परिजनों ने शव का अंतिम संस्कार कर दिया. पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने पर पुलिस का संदेह सही निकला कि उस की हत्या की गई थी. उस की मौत गला दबने से नहीं हुई थी. इस कांड को ले कर शिल्पा शक के दायरे में आ चुकी थी.
पुलिस को पूरा भरोसा था कि शिल्पा ने भले ही हत्या नहीं की हो, लेकिन वह मुख्य साजिशकर्ता हो सकती है. शिल्पा को थाने बुला कर सख्ती से पूछताछ की जाने लगी. पहले तो वह खुद को बेकसूर बताती रही, लेकिन जल्द ही वह पुलिस के सवालों में घिर गई. जब उस ने पाया कि अब बचना मुश्किल है, तब उस ने अपना गुनाह स्वीकार कर लिया.
शिल्पा ने बताया कि इस हत्याकांड में उस का प्रेमी मोहम्मद शकील और उस का दोस्त यादवेंद्र भी शामिल था. तीनों ने मिल कर योजनाबद्ध तरीके से 18 अक्तूबर की आधी रात को सुनील की हत्या की थी. शकील ने अपने दोस्त यादवेंद्र की मदद से सुनील को मौत के घाट तब उतारा था, जब वह गहरी नींद में सोया हुआ था. शिल्पा ने बताया कि उस ने हत्या से पहले ही पति को दूध में नींद की गोलियां मिला कर दी थीं.
इस की तीनों ने 2 दिन पहले ही योजना बनाई थी. घटना वाली रात जब सुनील बेहोश हो गया था, तब प्लानिंग के तहत उस ने प्रेमी शकील और उस के दोस्त यादवेंद्र सिंह को घर में घुसने के लिए छत का दरवाजा खुला छोड़ दिया था. आरोपी शकील और यादवेंद्र ने चाकू से वार करने से पहले सुनील का मुंह तकिए से दबा दिया था. सुनील ने हड़बड़ाहट में विरोध किया तो उन्होंने सुनील पर चाकुओं से कई वार किए, जिस से सुनील की मौत हो गई. इस के बाद उन्होंने इसे आत्महत्या और डकैती का मामला दिखाने के लिए सुनील के गले में चुन्नी का फंदा बना कर लटका दिया था.
वारदात में लूट दिखाने के लिए हत्या की रात शिल्पा ने अपने पति के पास रखे 45 हजार रुपए शकील को दे दिए थे. शिल्पा ने उसे यह कह कर वहां से भेज दिया कि सुबह होते ही वह घर में रोनाधोना करेगी कि उस के पति ने आत्महत्या कर ली है. इस की सूचना उस ने सब से पहले अपने पिता को दी. फिर पुलिस को सूचित कर दिया.
इस खुलासे के बाद पुलिस ने मृतक की पत्नी शिल्पा (35 वर्ष) और उस के प्रेमी मोहम्मद शकील को 21 अक्तूबर, 2023 को कोर्ट में पेश कर दिया था. कोर्ट के आदेश पर टाउन थाना पुलिस ने तीनों को न्यायिक हिरासत में भेज दिया. इस वारदात में न केवल शकील के विदेश जाने की सारी मेहनत धरी की धरी रह गई, बल्कि शिल्पा के सपने भी चकनाचूर हो गए. यादवेंद्र भी हत्या का आरोपी बन गया. जबकि सुनील के तीनों बच्चों पर मुश्किलों का पहाड़ टूट पड़ा.
—कथा पुलिस सूत्रों पर आधारित