सामान्य दिनों की तरह शुक्रवार 24 जून, 2022 को इंदौर महानगर के पुलिस कमिश्नर के औफिस में चहलपहल बनी हुई थी. पुलिसकर्मी दोपहर बाद के अपने रुटीन वाले काम निपटाने में व्यस्त थे. साथ ही उन के द्वारा कुछ अचानक आए काम भी निपटाए जा रहे थे.दिन में करीब 3 बजे का समय रहा होगा.

वहीं पास में स्थित पुलिस आयुक्त परिसर में गोली चलने की आवाज आई. सभी पुलिसकर्मी चौंक गए. कुछ सेकेंड में ही एक और गोली चलने की आवाज सुन कर सभी दोबारा चौंके. अब वे अलर्ट हो गए थे और तुरंत उस ओर भागे, जिधर से गोलियां चलने की आवाज आई थी. पुलिस आयुक्त के कमरे के ठीक बाहर बरामदे का दृश्य देख कर सभी सन्न रह गए.

पुलिस कंट्रोल रूम में ही काम करने वाली एएसआई रंजना खांडे जमीन पर अचेत पड़ी थी. उस के सिर के नीचे से खून रिस रहा था. कुछ दूरी पर ही भोपाल श्यामला हिल्स थाने के टीआई हाकम सिंह पंवार भी अचेतावस्था में करवट लिए गिरे हुए थे.खून उन की कनपटी से तेजी से निकल रहा था. उन्हें देख कर कहा जा सकता था कि दोनों पर किसी ने गोली चलाई होगी. किंतु वहां किसी तीसरे के होने का जरा भी अंदाजा नहीं था. हां, टीआई के पैरों के पास उन की सर्विस रिवौल्वर जरूर पड़ी थी.

एक महिला सिपाही ने रंजना खांडे के शरीर को झकझोरा. वह उठ कर बैठ गई. उसे गोली छूती हुई निकल गई थी. वह जख्मी थी. उस की गरदन के बगल से खून रिस रहा था. उसे तुरंत अस्पताल पहुंचाया गया. जबकि टीआई के शरीर को झकझोरने पर उस में कोई हरकत नहीं हुई. उन की सांसें बंद हो चुकी थीं.

रंजना के साथ टीआई को भी अस्पताल ले जाया गया.गोली चलने की इस वारदात की सूचना पुलिस कमिश्नर हरिनारायण चारी मिश्र को भी मिल गई. वह भी भागेभागे घटनास्थल पर पहुंच गए. तब तक की हुई जांच के मुताबिक टीआई हाकम सिंह के गोली मार कर खुदकुशी करने की बात चर्चा में आ चुकी थी. सभी को यह पता था कि यह प्रेम प्रसंग का मामला है. मरने से पहले टीआई ने ही एएसआई रंजना खांडे पर गोली चलाई थी.

इस के बाद अपनी कनपटी पर रिवौल्वर सटा कर गोली मार ली थी. रंजना खांडे की गरदन को छूती हुई गोली निकल गई थी. गरदन पर खरोंच भर लगी थी, किंतु वह वहीं धड़ाम से गिर पड़ी थी. रंजना के गिरने पर टीआई ने उसे मरा समझ लिया था. परंतु ऐसा हुआ नहीं था. पुलिस जांच में यह बात भी सामने आई कि रंजना ने टीआई पंवार पर दुष्कर्म करने का आरोप लगाया था. जबकि पंवार रंजना पर ब्लैकमेल करने का आरोप लगा चुके थे.

रंजना टीआई को कर रही थी ब्लैकमेल,रंजना और टीआई पंवार के बीच गंभीर विवाद की यही मूल वजह थी. इसे दोनों जल्द से जल्द निपटा लेना चाहते थे. इस सिलसिले में उन की कई बैठकें हो चुकी थीं, लेकिन बात नहीं बन पाई थी.टीआई पंवार तनाव में चल रहे थे. इस कारण 21 जून को बीमारी का हवाला दे कर छुट्टी पर इंदौर चले गए थे. उन्हें घटना के दिन रंजना ने 24 जून को मामला निपटाने के लिए दिन में डेढ़ बजे कौफीहाउस बुलाया था.

जबकि रंजना खुद अपने भाई कमलेश खांडे के साथ 10 मिनट देरी से पहुंची थी. उन के बीच काफी समय तक बातचीत होती रही. उसे बातचीत नहीं कहा जा सकता, क्योंकि वे एकदूसरे से बहस कर रहे थे, जो आधे घंटे बीत जाने के बाद भी खत्म होने का नाम नहीं ले रही थी. बगैर किसी नतीजे पर पहुंचे दोनों सवा 2 बजे कौफीहाउस से बाहर निकल आए थे.

पुलिस कमिश्नर औफिस के पास रीगल थिएटर है. उसी के सामने कौफीहाउस बना हुआ है. यह केवल पुलिस वालों के लिए ही है. बाहर निकलने पर भी दोनों में बहस होती रही. बताते हैं कि वे काफी तैश में थे. बहस करीब 40 मिनट तक चलती रही. इसी सिलसिले में यह भी बात सामने आई कि रंजना टीआई को ब्लैकमेल कर 50 लाख रुपए वसूल चुकी थी. वह उस का इकलौता शिकार नहीं थे, बल्कि पहले भी 3 पुलिसकर्मियों पर दुष्कर्म का आरोप लगा कर उन से लाखों रुपए वसूल चुकी थी. रंजना खांडे मूलरूप से खरगोन के धामनोद की रहने वाली थी.

उस के बाद ही करीब 3 बजे पुलिस कमिश्नर के औफिस के बाहर गोलियां चली थीं. टीआई पंवार इस वारदात को ले कर घर से ही पूरा मन बना कर आए थे. यहां तक कि वह अपनी पत्नी तक से आक्रोश जता चुके थे. उन्होंने कहा था कि गोविंद जायसवाल से पैसे ले कर ही लौटेंगे. कपड़ा व्यापारी गोविंद को उन्होंने 25 लाख रुपए दिए थे, जो लौटाने में आनाकानी कर रहा था. उन्होंने पत्नी लीलावती उर्फ वंदना से यह भी कहा था कि यदि उस ने पैसे नहीं दिए तो वह उसे मार डालेंगे. बात नहीं बनी तो अपनी जान भी दांव पर लगा देंगे.

58 साल के हाकम सिंह पंवार की नियुक्ति इसी साल 6 फरवरी को भोपाल के श्यामला हिल्स थाने में हुई थी. इस से पहले वह गौतमपुर, खुडेल, सर्राफा थाना, इंदौर कोतवाली, खरगोन, भिकमगांव महेश्वर, राजगढ़ में पदस्थापित रह चुके थे.उन का निवास स्थान वटलापुर इलाके में था. वहां उन्होंने एक फ्लैट किराए पर ले रखा था, लेकिन रहने वाले मूलत: उज्जैन जिले के तराना कस्बे के थे. वह भोपाल में अकेले रहते थे. मध्य प्रदेश पुलिस में वह सन 1988 में कांस्टेबल के पद पर भरती हुए थे. बताया जाता है कि उन्होंने 5 शादियां कर रखी थीं.

पहली शादी उन्होंने लीलावती उर्फ वंदना से की थी. बताया जाता है कि दूसरी शादी उन्होंने सीहोर की रहने वाली सरस्वती से की. गौतमपुरा में पोस्टिंग के दौरान उन की मुलाकात रेशमा उर्फ जागृति से हुई जो मूलरूप से इंदौर की पुरामत कालोनी की रहने वाली थी. वह उन की तीसरी पत्नी बनी. मजीद शेख की बेटी रेशमा ने टीआई हाकिमसिंह पंवार पर अपना इस तरह प्रभाव जमा लिया था कि वह उनसे जब चाहे तब पैसे ऐंठती रहती थी. चौथी प्रेमिका के रूप में रंजना खांडे उन के जीवन में आई. हाकमसिंह की सर्विस बुक में लता पंवार का नाम है. चर्चा यह भी है कि भोपाल में तैनाती के दौरान उन्होंने माया नाम की महिला से शादी की थी. पुलिस इन सब की जांच कर रही है.

रंजना 3 पुलिस वालों से ऐंठ चुकी थी ,70 लाख रुपए जांच में पता चला कि सन 2012 में मध्य प्रदेश पुलिस में भरती हुई रंजना धार जिले के कस्बा धामनोद की रहने वाली थी और मौजूदा समय में इंदौर की सिलिकान सिटी में रह रही थी. उस की पंवार से अकसर मुलाकात महेश्वर थाने में होती थी. वह महेश्वर थाने पर पंवार से मिलने के लिए 12 किलोमीटर की दूरी तय कर आती थी. रंजना के साथ उसका भाई कमलेश खांडे भी पंवार से मिलता रहता था.

रजंना और कमलेश ने मिल कर ब्लैकमेलिंग का तानाबाना बुना था. 28 वर्षीय कमलेश रंजना का भाई था. उस के बारे में मालूम हुआ कि वह एक आवारा किस्म का व्यक्ति था. 3 पुलिसकर्मियों को ब्लैकमेल करने में उस की महत्त्वपूर्ण भूमिका थी. तीनों से दोनों बहनभाई ने करीब 70 लाख रुपए की वसूली की थी. उन का तरीका एक औरत के लिए शर्मसार करने वाला था, लेकिन रंजना को इस से कोई फर्क नहीं पड़ता था. वह पैसे की इस कदर भूखी थी कि उस ने अपनी इज्जत, शर्म और मानमर्यादा को ताक पर रख दिया था.

एएसआई रंजना की दिलफेंक अदाओं पर पंवार तभी फिदा हो गए थे, जब वह पहली बार महेश्वर थाने में मिली थी. दरअसल, रंजना 2018 में थाने के काम से महेश्वर आई थी, वहां उस की मुलाकात टीआई पंवार से हुई थी.पंवार ने उस की मदद की थी, जिस से रंजना ने उसे साथ कौफी पीने का औफर दे दिया था. पंवार उस के औफर को ठुकरा नहीं पाए थे. उन के बीच दोस्ती की पहली शुरुआत कौफी टेबल पर हुई, जो जल्द ही गहरी हो गई.

साथ में पैग छलका कर टीआई से बनाए थे शारीरिक संबंध फिर एक दिन अपने भाई के साथ पंवार के कमरे पर आ धमकी. उस ने बताया कि उस के भाई का बिजनैस में किसी के साथ झगड़ा हो गया है. मामला उन्हीं के थाने का है. वह चाहें तो मामले को निपटा सकते हैं. इस संबंध में पंवार ने रंजना को मदद करने का वादा किया. इस खुशी में रंजना ने उन्हें एक छोटी सी पार्टी देने का औफर दिया और भाई से शराब की बोतलें मंगवा लीं. कमलेश विदेशी शराब की बोतलें और खाने का सामान रख कर चला गया.

पंवार के सामने शराब और शबाब दोनों थे. वह उस रोज बेहद खुश थे. उन की खुशी को बढ़ाने में रंजना ने भी खुले मन से साथ दिया था. देर रात तक शराब का दौर पैग दर पैग चलता रहा. इस दरम्यान रंजना ने टीआई हाकम सिंह पंवार के लिए न केवल अपने दिल के दरवाजे खोल दिए, बल्कि पंवार के सामने कपडे़ खोलने से भी परहेज नहीं किया.

बैडरूम में शराब की गंध के साथ दोनों के शरीर की गंध कब घुलमिल गई, उन्हें इस का पता ही नहीं चला. बिस्तर पर अधनंगे लेटे हुए जब उन की सुबह में नींद खुली, तब उन्होंने एकदूसरे को प्यार भरी निगाह से देखा. आंखों- आखों में बात हुई और एकदूसरे को चूम लिया. कुछ दिनों बाद रंजना पंवार से मिलने एक बार फिर अपने भाई के साथ आई. उस ने पंवार को धन्यवाद दिया और कहा कि उस की बदौलत ही उस का मामला निपट पाया. इसी के साथ रंजना ने एक दूसरी घरेलू समस्या भी बता दी. वह समस्या नहीं, बल्कि पैसे से मदद करने की थी.

रंजना ने बताया कि उस के परिवार को तत्काल 5 लाख रुपए की जरूरत है. पंवार पहले तो इस बड़ी रकम को ले कर सोच में पड़ गए, किंतु जब उस ने शराब की बोतल दिखाई तब वह पैसे देने के लिए राजी हो गए. टीआई पंवार ने उसी रोज कुछ पैसे अपने घर से मंगवाए और कुछ दोस्तों से ले कर रंजना को दे दिए. बदले में रंजना को पहले की तरह ही रात रंगीन करने में जरा भी हिचक नहीं हुई. इस तरह पंवार को रंजना से जहां यौनसुख मिलने लगा, वहीं रंजना के लिए पंवार सोने का अंडा देने वाली मुर्गी बन चुके थे. धीरेधीरे रंजना उन से लगातार पैसे की मांग करने लगी. पंवार भी उस की पूर्ति करते रहे. लेकिन आए दिन की जाने वाली इन मांगों से पंवार काफी तंग आ चुके थे.

हद तो तब हो गई जब रंजना ने एक बार पूरे 25 लाख रुपए की मांग कर दी. उस ने न केवल रुपए मांगे, बल्कि भाई के लिए एक कार तक मांग ली. इस मांग के बाद पंवार का पारा बढ़ गया. वह गुस्से में आ गए. फोन पर ही धमकी दे डाली. किंतु रंजना ने बड़ी शालीनता से उन की धमकी का जवाब एक वीडियो क्लिपिंग के साथ दे दिया.

टीआई की रखैल रेशमा भी करने लगी ब्लैकमेल रंजना ने कुछ मिनट की एक वीडियो क्लिपिंग उन्हें वाट्सऐप कर दी. उसे देखते ही पंवार का दिमाग सुन्न हो गया. तभी रंजना के भाई ने फोन कर धमकी दी कि उस तरह के कई वीडियो उस के पास हैं. उन्होंने अगर जरा सी भी होशियारी दिखाई और पैसे नहीं दिए, तब वह सीधा बहन के साथ बलात्कार का आरोप लगा देगा. उस के बाद की पूरी प्रक्रिया क्या हो सकती है, उसे वह अच्छी तरह जानता है.

बाद में रेशमा उर्फ जागृति भी रंजना से मिल गई. फिर इन्होंने मिल कर टीआई पंवार को मानसिक रूप से प्रताडि़त करना शुरू कर दिया. इस की पुष्टि पंवार के मोबाइल नंबर की साइबर फोरैंसिक जांच से हुई.इस बारे में पंवार के घर वालों ने भी पुलिस से शिकायत की थी. पूछताछ में पंवार की पत्नी लीलावती, भाई रामगोपाल, भतीजा भूपेंद्र पंवार, मुकेश पंवार और पिता भंवरसिंह पंवार ने फोन पर धमकी मिलने की बात बताई.

उन्होंने बताया कि हाकम सिंह से रंजना ही नहीं, बल्कि उस की बहन और भाई भी पैसे की मांग करते थे. पैसे नहीं देने पर बलात्कार के झूठे मुकदमे में फंसा देने की धमकी भी देते थे.पंवार की मौत गोली मार कर आत्महत्या किए जाने की पुष्टि के बाद पुलिस की जांच में 4 लोगों के खिलाफ प्रताडि़त करने की एफआईआर दर्ज की गई. उन 4 लोगों में मुख्य आरोपी रंजना खांडे, रेशमा उर्फ जागृति, कमलेश और गोविंद जायसवाल का नाम था.

एफआईआर में उन्होंने झूठी रिपोर्ट दर्ज करवा कर जेल भेजने की धमकी देने और पैसा मांगने की बात कही गई थी. जांच में पाया गया कि 31 मार्च से 24 जून, 2022 के बीच मृतक के मोबाइल पर रेशमा उर्फ जागृति ने फोन कर के धमकियां दी थीं. ये धमकियां पूरी तरह से ब्लैकमेल करने और मानसिक प्रताड़ना की थीं. टीआई पंवार ने अपने मोबाइल में इन की रिकौर्डिंग कर रखी थी. मोबाइल पर मिली कुल 7 धमकियां तिथिवार रिकौर्ड थीं.

धमकी देने वाले आरोपियों में रेशमा ने पंवार से मकान के लिए पैसे और रजिस्ट्री के लिए प्रताडि़त किया था. ऐसा नहीं करने पर बलात्कार की रिपोर्ट दर्ज कराने और अश्लील फोटो वायरल करने की धमकी दी थी. ऐसे ही रंजना और उस के भाई कमलेश 25 लाख रुपए और गाड़ी की मांग कर रहे थे. रंजना ने टीआई पंवार से कहा था कि उन्होंने कपड़ा व्यापारी गोविंद जायसवाल को रखने के लिए जो 25 लाख रुपए दिए थे, वह उस से मांग कर दें. दूसरी तरफ गोविंद जायसवाल पैसा वापस नहीं कर रहा था. वह टालमटोल कर रहा था.

पंवार को रेशमा ने 24 जून को गोविंद से पैसा लाने का दबाव बनाया था. उसी समय रंजना और कमलेश भी पैसा और गाड़ी के लिए पंवार को इंदौर में इंडियन कैफे हाउस के सामने बुलाया था. इस तरह से पंवार दोतरफा मानसिक तनाव में आ चुके थे.मुख्यालय के प्रांगण में ही बहा खून

टीआई पंवार को गोविंद से पैसे ले कर अश्लील वीडियो के वायरल होने से रोकने के लिए रंजना, रेशमा और कमलेश को देने थे. पंवार ने कमलेश और रंजना से इंडियन कौफीहाउस में बातचीत के दौरान गोविंद से मोबाइल पर काल कर अपने रुपए मांगे थे. उन्होंने बातचीत में खुद को बहुत परेशान बताया था और अनर्थ होने तक की बात कही थी. इसी क्रम में रेशमा काल कर पंवार को मोबाइल पर धमकियां देती रही. उस ने फोन पर यहां तक कह दिया था कि जो पैसा और चैक नहीं दे रहा है, उसे मार कर खुद मर जाए.

यह बात पंवार के दिमाग में बैठ गई. और फिर उन्होंने जो निर्णय लिया वह उन्हें खतरनाक राह पर ले गया. रेशमा, रंजना, कमलेश और गोविंद जायसवाल की एक साथ मिली प्रताड़नाओं से पंवार टूट गए.

करीब 50 मिनट तक वह मानसिक उत्पीड़न से जूझते रहे. एक समय आया जब उन्होंने मानसिक संतुलन खो दिया और अपनी सर्विस रिवौल्वर हाथ में पकड़ ली. कौफीहाउस से निकलने के बाद बरामदे में उन्होंने रंजना के हाथ से उस का मोबाइल छीनने की कोशिश की, क्योंकि उसी में अश्लील वीडियो थीं. मोबाइल रंजना के हाथ से नीचे गिर गया, जिसे रंजना ने तुरंत उठा लिया.

तभी उन्होंने रिवौल्वर रंजना खांडे पर तान दी. जब तक रंजना कुछ कहतीसुनती, तब तक रिवौल्वर से गोली निकल चुकी थी. गोली चलते ही रंजना वहीं जमीन गिर पड़ी थी. पंवार ने तुरंत रिवौल्वर को अपनी कनपटी से सटाया और दूसरी गोली चला दी. इस तरह हत्या और आत्महत्या की इस वारदात में हत्या तो नहीं हो पाई लेकिन आत्महत्या जरूर हो गई.

इस मामले की जांच पूरी होने के बाद रेशमा, रंजना खांडे, कमलेश खांडे, कपड़ा व्यापारी गोविंद जायसवाल को भादंवि की धारा 384, 385, 306 के तहत अजाक थाने में मुकदमा दर्ज कर लिया गया.

रिपोर्ट दर्ज होने के बाद एडिशनल पुलिस कमिश्नर राजेश हिंगणकर ने एएसआई रंजना खांडे को निलंबित कर दिया. आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस टीम ने उन के ठिकानों पर दबिश डाली, लेकिन वह वहां से फरार मिले. मुखबिर की सूचना पर पुलिस ने महाकाल मंदिर क्षेत्र में बसस्टैंड के पास से उसे गिरफ्तार कर लिया. पूछताछ में रंजना ने टीआई पंवार से अपने अवैध संबंधों की बात कुबूली. उस ने बताया कि उन्हीं संबंधों की वीडियो से ब्लैकमेल कर वह टीआई से क्रेटा कार मांग रही थी.इस के बाद पुलिस ने टीआई की पत्नी का दावा करने वाली रेशमा को भी गिरफ्तार कर लिया.

वारदात के करीब 2 हफ्ते बाद रंजना के भाई कमलेश की आग से झुलस कर मौत हो गई. दरअसल, कमलेश धामोद स्थित अपने घर पर दालबाटी बना रहा था. उस समय उपले गीले होने की वजह से जल नहीं पा रहे थे. उन्हें जलाने के लिए कमलेश ने जैसे ही पैट्रोल डाला, तभी उस के कपड़ों में आग लग गई. घर में आग से वह काफी देर तक छटपटाता रहा. घर वालों ने किसी तरह उस की आग बुझाई और उसे इलाज के लिए धार अस्पताल ले गए. हालत गंभीर होने की वजह से उसे एमवाई अस्पताल रैफर कर दिया. जहां इलाज के दौरान उस की मौत हो गई.

इंदौर के हनुमान मंदिर के पास एलआईजी सोसायटी में रहने वाला व्यापारी गोविंद जायसवाल कथा लिखने तक गिरफ्तार नहीं हो सका था. पुलिस ने आरोपी रंजना खांडे और रेशमा उर्फ जागृति से विस्तार से पूछताछ करने के बाद उन्हें कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया.

और कहानियां पढ़ने के लिए क्लिक करें...