शर्मा आटो गैराज में काम करने वाला उत्तम कृष्ण करीब 11 बजे जब गैराज पर पहुंचा तो शटर गिरा हुआ मिला. उसे आश्चर्य हुआ, क्योंकि गैराज के मालिक जितेंद्र शर्मा रोजाना 9 बजे ही गैराज खोल देते थे. उत्तम कृष्ण इस गेराज में एक साल से काम कर रहा था, लेकिन उसे सुबह को कभी भी गैराज बंद नहीं मिला था.
जितेंद्र को कभी आने में देर हो जाती तो वह उत्तम को फोन पर सूचना दे कर गैराज खोलने के लिए बोल देते थे. उत्तम सोच रहा था कि जितेंद्र अभी तक क्यों नहीं आए. वह गैराज के बाहर ही उन के आने का इंतजार करने लगा. तभी उत्तम का ध्यान दुकान पर लगने वाले तालों पर गया तो वह चौंका शटर के दोनों ताले खुले थे.
उत्तम ने आगे बढ़ कर शटर ऊपर उठा दिया. उस की नजर गैराज के अंदर गई तो उस की सिट्टीपिट्टी गुम हो गई. जितेंद्र शर्मा का शव दुकान के अंदर लगे लोहे के पिलर पर रस्सी के फंदे से झूल रहा था.
अपने मालिक की लाश लटकते देख कर उत्तम के मुंह से चीख निकल गई. उस के चीखने की आवाज सुन कर आसपास के दुकानदार जमा हो गए. घटना की सूचना थाना नीलगंगा के टीआई संजय मंडलोई को दे दी गई.
धन्नालाल की जिस चाल में शर्मा गैराज था, वह इलाका थाना नीलगंगा में आता था. कुछ ही देर में टीआई संजय मंडलोई एसआई जयंत सिंह डामोर, प्रवीण पाठक आदि के साथ घटनास्थल पर पहुंच गए. पुलिस ने जरूरी जांच के बाद शव को फंदे से उतारा और प्राथमिक काररवाई के बाद पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया. पुलिस ने गैराज की तलाशी ली तो वहां 5 पेज का एक सुसाइड नोट मिला. सुसाइड नोट के 3 पेजों पर जितेंद्र ने देवास में रहने वाली अपनी चचेरी साली का जिक्र किया था. सुसाइड नोट के हिसाब से जितेंद्र शर्मा ने चचेरी साली की ब्लैकमेलिंग से तंग आ कर आत्महत्या की थी.
जितेंद्र ने अपने सुसाइड नोट के एक पेज पर पत्नी शोभा को मायके जा कर रहने व दूसरी शादी करने की सलाह दी थी. पुलिस ने सुसाइड नोट हैंडराइटिंग की जांच के लिए एक्सपर्ट के पास भेज दिया. सुसाइड नोट में साली का जिक्र आया था, इसलिए पुलिस ने पूछताछ के लिए देवास में रहने वाली जितेंद्र की साली के बारे में पता किया तो वह घर से लापता मिली.
उज्जैन के एसपी सचिन अतुलकर के निर्देश पर टीआई संजय मंडलोई ने जांच की जिम्मेदारी एसआई जयंत सिंह डामोर को सौंप दी. मृतक का क्रियाकर्म हो जाने के बाद जांच शुरू करते हुए एसआई डामोर ने मृतक की पत्नी शोभा से पूछताछ की. उस ने अपने पति द्वारा चचेरी बहन पर लगाए आरोपों को सच बताया.
शोभा ने पुलिस को यह भी बताया कि घटना से एक दिन पहले जितेंद्र ने अदिति शर्मा के साथ अपने संबंध और उस के द्वारा ब्लैकमेल करने की बात उसे तथा अपने पिता को बताई थी. जिस पर हम ने उन्हें काफी समझाया था, लेकिन इस के बावजूद उन्होंने ऐसा कदम उठा लिया. मृतक के पिता ने भी माना कि जितेंद्र अदिति शर्मा द्वारा ब्लैकमेल किए जाने से परेशान था. उन्होंने उसे समझाया था कि सब ठीक हो जाएगा.
पुलिस ने अदिति शर्मा की तलाश में अपने मुखबिर सक्रिय कर दिए थे. घटना के लगभग 10 दिन बाद अदिति शर्मा के देवास में होने की जानकारी मिली तो पुलिस की एक टीम ने वहां जा कर उसे गिरफ्तार कर लिया.
लेकिन तब तक अदिति शर्मा ने इस मामले में हाईकोर्ट से अग्रिम जमानत ले ली थी, इसलिए थाने में उस के बयान दर्ज करने के बाद पुलिस ने उसे जाने दिया. जिस के बाद पूरी कहानी इस प्रकार से सामने आई—
उज्जैन निवासी लक्ष्मण शर्मा कारों के पुराने मैकेनिक हैं. पिता के साथ काम सीखने के बाद जितेंद्र उर्फ जीतू ने महापौर निवास के सामने अपना अलग गैराज खोल लिया था. 26 नवंबर, 2015 को जितेंद्र की शादी देवास की रहने वाली शोभा से हुई थी. शादी के कुछ समय बाद जितेंद्र सेठी नगर में किराए का मकान ले कर अपने परिवार से अलग रहने लगा था.
कुछ साल पहले जितेंद्र की पत्नी का परिवार देवास छोड़ कर गुजरात वापस चला गया. जितेंद्र की चचेरी साली अदिति शर्मा (24) देवास की एक निजी कंपनी में नौकरी करती थी, इसलिए परिवार के साथ न रह कर वह देवास में ही किराए के मकान में रहने लगी थी.
रविवार या अन्य छुट्टियों में वह अपना दिन बिताने अकसर बहन शोभा के घर उज्जैन आ जाती थी. जितेंद्र के साथ उस का हंसीमजाक का रिश्ता था, सो खुले विचारों वाली अपनी इस साली से जितेंद्र की जल्द ही काफी अच्छी बनने लगी.
अदिति शर्मा के बयानों को सच मानें तो जितेंद्र मौका मिलने पर उस के साथ छेड़छाड़ कर लेता था. अदिति शर्मा उस की इस छेड़छाड़ का बुरा नहीं मानती थी, इसलिए जितेंद्र की हिम्मत बढ़ने लगी थी. अदिति शर्मा ने बताया कि 2018 में जीजू एक रोज उस के घर देवास आ धमके. उन्हें देवास में कुछ काम था. उस रोज जीजू ने जानबूझ कर देर कर दी और फिर लेट हो जाने का बहाना बना कर रात में मेरे घर पर रुक गए.
अदिति शर्मा के अनुसार, ‘देर रात तक हम दोनों बात करते रहे, उस के बाद मुझे नींद आने लगी और मैं सो गई. कुछ देर बाद मुझे अपने शरीर पर किसी के हाथों का स्पर्श महसूस हुआ. मैं ने आंखें खोल कर देखा तो जितेंद्र मेरे शरीर से छेड़खानी कर रहे थे.
‘मैं उठ कर बैठ गई और उन की इस हरकत के लिए नाराजगी व्यक्त की. लेकिन वह नहीं माने और उस रात उन्होंने जबरन मेरे साथ संबंध बना लिए. इस के बाद वह अकसर देवास आ कर मेरे साथ मौजमस्ती करते थे और लौट जाते थे.’
अदिति शर्मा ने माना कि कुछ समय पहले उस की नौकरी छूट गई थी, जिस से वह आर्थिक परेशानी में आ गई थी. इस के चलते उस ने जितेंद्र जीजू से कुछ पैसा उधार लिया था लेकिन बाद में वापस लौटा दिया था.
जबकि जितेंद्र के सुसाइड नोट के अनुसार अदिति शर्मा अकसर उसे खुला आमंत्रण देती रहती थी. लेकिन उस ने कभी गौर नहीं किया. बाद में एक दिन देवास में देर हो जाने के कारण उसे रात में अदिति शर्मा के घर पर रुकना पड़ा.
घर में दोनों अकेले थे, सो ऐसे में अदिति शर्मा रात में खुद चल कर उस के बिस्तर में घुस आई और उस से बुरी तरह लिपट कर प्यार करने लगी. अदिति शर्मा की पहल पर उस रात उस के और अदिति शर्मा के बीच शारीरिक संबंध बन गए थे.
इस घटना के बाद जितेंद्र अपराधबोध से ग्रस्त हो गया था. उस ने अदिति शर्मा से फिर कभी अकेले में न मिलने की कसम भी खा ली थी. लेकिन अदिति शर्मा ने खुद आगे बढ़ कर उसे अपने साथ फिजिकल होने को उकसाया था, इस का खुलासा कुछ दिन बाद तब हुआ, जब अदिति शर्मा ने जरूरत बता कर उस के सामने कुछ पैसों की मांग की. जितेंद्र ने उसे पैसे दे दिए तो वह आए दिन कभी 2 हजार तो कभी 5 हजार तो कभी 10 हजार रुपयों की मांग करने लगी.
वह बिना सोचेसमझे उस की मदद करता रहा, लेकिन जब अदिति शर्मा लगातार उस से ज्यादा रकम मांगने लगी तो उस ने पैसे न होने का बहाना बनाना शुरू कर दिया. जिस पर एकदो बार तो अदिति शर्मा ने कुछ नहीं कहा लेकिन एक दिन जब जितेंद्र ने उसे पैसे देने से मना किया तो वह धमकी देने लगी. उस ने कहा कि अगर उस की बात नहीं मानी तो वह सारी बात शोभा दीदी को बता देगी.
उस दिन के बाद तो अदिति शर्मा जितेंद्र को सीधेसीधे धमका कर पैसों की मांग करने लगी. अदिति शर्मा को लगातार पैसा देने के कारण जितेंद्र की आर्थिक स्थिति भी बिगड़ने लगी थी, जिस से वह परेशान रहता था. जितेंद्र सोचता था कि कुछ दिनों बाद अदिति शर्मा की शादी हो जाएगी तो सब ठीक हो जाएगा.
लेकिन अदिति शर्मा शादी करने को तैयार नहीं थी. बताते हैं कि एक बार जितेंद्र ने उसे शादी कर लेने की सलाह दी तो अदिति शर्मा ने उस से कहा, ‘‘लड़की 2 जरूरतों के लिए शादी करती है. पहली जरूरत तन की भूख मिटाने की और दूसरी पेट की भूख मिटाने की. इन दोनों जरूरतों के लिए तुम हो तो मैं शादी की बेड़ी पहन कर किसी की गुलाम क्यों बनूं.’’
इस से जितेंद्र समझ गया कि अदिति शर्मा से आसानी से छुटकारा नहीं मिलेगा. जितेंद्र काफी परेशान रहने लगा था. यह देख कर जब उस की पत्नी ने उस से बारबार पूछा तो घटना से एक दिन पहले उस ने अदिति शर्मा के साथ भूलवश शारीरिक संबंध बन जाने और उस के ब्लैकमेल करने की बात पत्नी और पिता को बता दी थी. दोनों ने ही उसे पुरानी बातें भूल कर नए सिरे से जीवन शुरू करने की सलाह दी थी.
जितेंद्र के पिता और पत्नी को इस बात का जरा भी अहसास नहीं था कि वह यह बात अपना मन हलका करने के लिए नहीं बल्कि आत्महत्या करने से पहले अपनी गलती स्वीकार करने की गरज से बता रहा था.
उस की पत्नी और पिता दोनों का आरोप है कि उन्हें कहानी सुनाने के बाद जितेंद्र का मन हलका हो गया था. संभवत: इस के बाद उस ने अदिति शर्मा की बात मानने से इनकार किया होगा, जिस के बाद अदिति शर्मा ने उसे बदनाम करने की धमकी दी होगी, जिस से डर कर उस ने आत्महत्या कर ली.