मध्य प्रदेश के रायसेन जिले के औबेदुल्लागंज में रहने वाले पुराने कपड़ा व्यापारी देवेंद्र कोठारी का 45 वर्षीय एकलौता बेटा नीरज उर्फ मोनू रात को साढ़े 9 बजे अपनी स्कूटी से घर से यह कह कर निकला था कि ‘कुछ देर में घूम कर आता हूं.’
मगर रात के 12 बज गए और नीरज घर नहीं लौटा. इंतजार करतेकरते नीरज की पत्नी शिवांजलि ने जब नीरज को फोन लगाया तो उस का फोन स्विच्ड औफ था.
शिवांजलि समझ नहीं पा रही थी कि पति का फोन बंद क्यों है. पति के बारे में सोचसोच कर बुरा हाल था. परेशान हो कर शिवांजलि ने अपने 15 वर्षीय बेटे को यह बात बताने के लिए अपने ससुर के कमरे में भेजा.
पोते से नीरज के अभी तक घर न पहुंचने की बात सुनते ही 70 साल के देवेंद्र कोठारी बेचैन हो गए. उन्हें यह बात समझ नहीं आ रही थी कि इतनी रात गए नीरज आखिर कहां गया होगा.
निशांत भी पिता के दोस्तों को फोन लगा कर उन की जानकारी जुटाने की कोशिश करने लगा. काफी मशक्कत के बाद जब नीरज के बारे में कोई जानकारी नहीं मिली तो आधी रात को ही दादा और पोते नीरज को खोजने निकल पड़े. यह बात 16 फरवरी, 2022 की है.
पूरी रात शहर में कई जगहों पर खोजबीन के बाद भी नीरज के बारे में कोई खबर नहीं मिली तो देवेंद्र कोठारी दूसरे दिन 17 फरवरी की सुबह औबेदुल्लागंज थाने पहुंच गए.
उन्होंने टीआई संदीप चौरसिया को पूरे घटनाक्रम की जानकारी देते हुए नीरज की गुमशुदगी दर्ज करा दी. कुछ ही घंटों में नीरज के गायब होने की खबर सोशल मीडिया पर वायरल हो चुकी थी.
नीरज के पिता शहर के पुराने कपड़ा व्यापारी थे. उन की अपनी खेती की जमीन होने के साथ ही नीरज प्रौपर्टी डीलर के तौर पर काम कर रहा था. नीरज के इस तरह गायब होने से लोग तरहतरह के कयास लगा रहे थे.
शहर में एक चर्चा यह भी थी कि नीरज जमीन में छिपी दौलत को खोजने के चक्कर में कहीं गया होगा. लोगों का यह अनुमान इसलिए भी था कि नीरज तंत्रमंत्र और ज्योतिषियों के चक्कर में पड़ कर बिना मेहनत किए दौलत कमाना चाहता था.
कुछ साल पहले सड़क किनारे बैठने वाले किसी ज्योतिषी ने नीरज को बताया था कि उसे जमीन में गड़ा अकूत धन मिलेगा. तभी से नीरज इसी चक्कर में पड़ा रहता था. वह अकसर यही सोचता था कि कभी तो ज्योतिषी की भविष्यवाणी सच निकलेगी.
नीरज के इस तरह गायब होने की यह चर्चा बेवजह नहीं थी. 16 फरवरी को अमावस्या की रात थी और नीरज को घर से जूट के बोरे स्कूटी में रखते हुए उस के बेटे ने देखा था. इस वजह से लोगों का अनुमान था कि तंत्रमंत्र के जरिए जमीन में गड़े धन को बोरे में भर कर लाया जाएगा.
नीरज की गुमशुदगी को टीआई संदीप चौरसिया ने गंभीरता से लेते हुए घटना की जानकारी रायसेन जिले के एसपी विकास कुमार सेहवाल, एडीशनल एसपी अमृत मीणा, एसडीपीओ मलकीत सिंह को दे दी और खुद नीरज की खोजबीन में जुट गए.
पुलिस अधिकारियों को यह भी शक था कि नीरज का कहीं अपहरण तो नहीं हो गया. क्योंकि नीरज के पिता औबेदुल्लागंज के करोड़पति कारोबारी हैं. पुलिस ने नीरज की गुमशुदगी की सूचना समीप के भोपाल, होशंगाबाद और विदिशा जिले के पुलिस थानों को भी दे दी. शहर में इस घटना को ले कर चर्चाओं का बाजार गर्म था और पुलिस अलगअलग एंगिल से मामले की जांच कर रही थी. औबेदुल्लागंज के एसडीपीओ मलकीतसिंह ने 4 पुलिस थानों की एक टीम जांच के लिए गठित की.
टीम को इलाके की तलाशी के दौरान 18 फरवरी को होशंगाबाद रोड पर बने शगुन वाटिका मैरिज गार्डन के पीछे रेल पटरियों के किनारे झाडि़यों में एक लाश मिल गई. लाश को आवारा कुत्तों ने नोच दिया था, जिस की वजह से पुलिस को शिनाख्त करने में मुश्किल हो रही थी.
पुलिस टीम ने जब नीरज के घर वालों को घटनास्थल पर बुलाया तो कपड़ों के आधार पर घर वालों ने शव की पहचान कर बताया कि शव नीरज का ही है. नीरज की पत्नी और बेटे का रोरो कर बुरा हाल था. नीरज के पिता भी दुखी मन से बहू और पोते को ढांढस बंधा रहे थे. घटनास्थल पर भारी भीड़ जमा हो चुकी थी.
नीरज का शव अर्द्धनग्न अवस्था में मिला था, उस की पेंट और अंडरवियर कमर के नीचे घुटनों तक सरके हुए थे. शव की हालत देख कर पुलिस का शक अवैध संबंधों की वजह से हत्या की ओर जा रहा था.
नीरज का शव बरामद होने की सूचना मिलते ही रायसेन के एसपी के निर्देश पर एडीशनल एसपी अमृत मीणा घटनास्थल पर आ चुके थे. लाश का पंचनामा कर उसे पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया. औबेदुल्लागंज थाने के टीआई संदीप चौरसिया को जांच के दौरान कुछ लोगों ने बताया कि नीरज छोटी उम्र के लड़कों से दोस्ती रखने का शौकीन था और उन के साथ गे रिलेशनशिप रखता था. कुछ ही घंटों में पुलिस को कई लड़कों के नाम मिल गए, जिन से नीरज के गे संबंध थे.
शक के आधार पर कुछ लड़कों से पुलिस ने पूछताछ की तो पता चला कि पिछले कुछ महीनों से नीरज की दोस्ती 23 साल के मनोज कटारे और 17 साल के राजू (परिवर्तित नाम) से चल रही थी.
राजू को अकसर ही नीरज की स्कूटी पर बैठे देखा जाता था. मनोज और राजू रेलवे स्टेशन के पास एक नमकीन की दुकान पर काम करते थे. पुलिस ने जब मनोज और राजू की तलाश शुरू की तो पता चला कि 16 फरवरी के बाद वे दुकान ही नहीं पहुंचे.
पुलिस ने साइबर सेल की मदद से मनोज और राजू की मोबाइल लोकेशन की जांच की तो राजधानी भोपाल के नादिरा बसस्टैंड की मिल रही थी. पुलिस को अब पूरा यकीन हो गया था कि दोनों नीरज की हत्या कर भागने की फिराक में हैं.
पुलिस की एक टीम तुरंत भोपाल के नादिरा भेजी गई, जहां से उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया. सख्ती से की गई पूछताछ में दोनों ने नीरज की हत्या करने की बात कुबूल कर ली. उस के बाद जो दिलचस्प कहानी सामने आई, वह ट्रायंगल गे रिलेशनशिप पर रचीबसी निकली—
23 साल का मनोज कटारे बरखेड़ा पुलिस चौकी क्षेत्र के पिपलिया गांव का रहने वाला है. वह रेलवे स्टेशन रोड पर स्थित एक नमकीन की दुकान पर काम करता है. इसी दुकान पर 17 साल का राजू भी काम करता था. राजू देखने में गोरा, चिकना और लड़कियों की तरह शरमीला था.
दुकान पर काम के दौरान खाली समय में मनोज राजू को पकड़ कर उस के शरीर के नाजुक अंगों को छूने की काशिश करता तो राजू को अजीब सा लगता. राजू किशोरावस्था की दहलीज पर था, उसे अच्छेबुरे का ज्यादा इल्म नहीं था.
मनोज के इस तरह छूने से उसे अच्छा लगता. मनोज तो राजू का दीवाना हो गया था, उसे छूते ही मनोज को कुछ इस तरह का अहसास होता था जैसे वह किसी लड़की के बदन को छू रहा हो. जब दोनों के बीच दोस्ती हो गई तो मनोज राजू को अपने घर ले जाने लगा.
एक दिन काम से छुट्टी मिलने पर अपने ही घर में दोपहर के समय एकांत पा कर मनोज ने राजू से कहा, ‘‘राजू, तू बहुत खूबसूरत है. यदि तू लड़की होता तो मैं तुझ से ही शादी कर लेता.’’
इतना कह कर मनोज ने राजू को चूमना शुरू कर दिया. मनोज के हाथ कभी उस के गालों पर, कभी उस की छाती पर तो कभी उस के प्राइवेट पार्ट को टच करने लगे. राजू के पूरे शरीर में एक अजीब सी सिहरन दौड़ गई.
उसे मनोज का इस तरह छूना अच्छा लग रहा था. लिहाजा राजू ने भी मनोज पर प्यार जताते हुए कहा, ‘‘मनोज, तुम भी मुझे बहुत अच्छे लगते हो. जी चाहता है जिंदगी भर तुम्हारे साथ रहूं.’’
मनोज ने धीरेधीरे राजू के बदन से कपड़े उतारने शुरू कर दिए और राजू का हाथ अपने निजी अंग पर ले जा कर रख दिया. और राजू से बोला, ‘‘राजू, तू हमेशा इसी तरह मेरे साथ रहे तो मैं किसी लड़की से कभी शादी नहीं करूंगा.’’
मनोज की बात सुन कर राजू ने भी मनोज से वादा किया कि वह हमेशा जीवनसाथी बन कर उसी के साथ रहेगा.
धीरेधीरे राजू ने भी मनोज के कपड़े उस के शरीर से हटाना शुरू कर दिया. देखते ही देखते दोनों निर्वस्त्र हो कर अप्राकृतिक सैक्स का आनंद लेने लगे. दोनों के संबंध इतने मजबूत हो गए थे कि एक दिन भी दोनों का एकदूसरे के बिना रहना मुश्किल हो गया था.
दोनों के बीच गे रिलेशनशिप अब रोज की बात हो गई थी. दुकान से छूटते ही जब भी उन्हें मौका मिलता, वे आनंद के सागर में डूब कर गोता लगाते.
दोनों गे सैक्स का भरपूर आनंद लेने के लिए बदलबदल कर प्रेमीप्रेमिका की भूमिका निभाते थे. कभी राजू मनोज की प्रेमिका का रोल निभाता तो कभी मनोज राजू की प्रेमिका बन कर उस से संबंध बना कर उसे भी खुश कर देता.
एक दिन नीरज कोठारी शाम के वक्त नमकीन लेने उन की दुकान पर आया था, तभी राजू और मनोज के बीच हंसीमजाक देख कर उस का ध्यान राजू की तरफ गया. राजू लड़कियों की शक्लसूरत जैसा खूबसूरत लड़का था.
कुछ ही दिनों में नीरज को इस बात का पता चल गया कि मनोज और राजू के बीच समलैंगिक संबंध हैं. इस के बाद तो नीरज राजू से मिलने को बेताब हो उठा.
दरअसल, नीरज भी गे सैक्स का शौकीन था. नीरज इसी फिराक में रह कर किसी भी तरह वह राजू से नजदीकियां बढ़ाना चाहता था, मगर राजू मनोज के प्रेम में इस तरह पागल था कि वह नीरज को भाव नहीं दे रहा था.
एक दिन नीरज ने राजू और मनोज को संबंध बनाते देख लिया और अपने मोबाइल फोन से वीडियो बना ली. इस के बाद वह राजू को वीडियो दिखा कर धमकाने लगा.
राजू डर के मारे नीरज के फैलाए जाल में फंस गया. नीरज अकसर ही नमकीन की दुकान पर आने लगा. वह राजू को स्कूटी पर घुमाने के बहाने अपने साथ ले जाने लगा. राजू को मनोज के साथ रहते गलत कामों की लत पड़ चुकी थी, ऐसे में नीरज की संगत पा कर उसे भी वही मजा मिलने लगा.
धीरेधीरे राजू और नीरज रोजरोज ही मिलने लगे. वे आपस में एकदूसरे को चूमते तो कभी मोबाइल से फोटो लेते. नीरज राजू से उम्र में काफी बड़ा था. राजू को मनोज के साथ संबंध बनाने में जो मजा आता था, वह नीरज के साथ नहीं आता था. यही वजह थी कि वह नीरज से दूरियां बनाने लगा था.
मगर नीरज वीडियो वायरल करने की धमकी दे कर उस से बारबार संबंध बनाने की जिद करता था. किसी लव ट्रायंगल फिल्मी स्टोरी की तरह राजू के नीरज के साथ घूमनेफिरने से मनोज के अंदर शक का कीड़ा कुलबुलाने लगा.
मनोज ने जब एक दिन राजू से नीरज के साथ नजदीकियों के बारे में पूछा तो नीरज की हरकतों की सच्चाई राजू ने मनोज को बता दी, ‘‘नीरज मुझे खेत पर बुला कर जबरन संबंध बनाता है और मना करने पर हम दोनों का वीडियो वायरल करने की धमकी देता है.’’
यह सुन कर मनोज का खून खौल उठा. जैसे एक प्रेमी अपनी प्रेमिका का किसी गैर से संबंध बरदाश्त नहीं कर पाता, वैसे ही मनोज के दिल में नीरज के प्रति नफरत की आग जलने लगी.
मनोज को जब पता चला कि नीरज उस के दोस्त राजू को ब्लैकमेल कर रहा है और जबरदस्ती संबंध बना रहा है तो उस ने नीरज को रास्ते से हटाने की सोची.
नीरज के पास उन का अश्लील वीडियो था, इस वजह से मनोज को डर था कि उस की दोस्तों में बदनामी हो जाएगी. चारों तरफ से निराश हो कर मनोज ने नीरज की हत्या करने की योजना बनाई. मनोज की बनाई योजना के मुताबिक, राजू ने 16 फरवरी की रात साढ़े 9 बजे नीरज को फोन कर के मिलने को बुलाया.
नीरज यूं तो करोड़पति बाप का इकलौता बेटा था, मगर अपने हमउम्र लड़कों के साथ अवैध संबंध रखने के शौक की वजह से वह किशोरास्था में ही बदनाम हो गया था.
नीरज के जवान होते ही उस के पिता ने उस की शादी कर दी. वक्त गुजरने के साथ नीरज का बेटा भी 15 साल का हो गया था, मगर नीरज का लड़कों से सैक्स संबंध बनाने का शौक खत्म नहीं हुआ था.
16 फरवरी, 2022 की रात साढ़े 9 बजे नीरज घर पर खाना खा कर मोबाइल देख रहा था, तभी राजू की फोन काल देख कर उस का चेहरा खुशी से खिल उठा. राजू ने उसे खुला आमंत्रण देते हुए कहा, ‘‘आज मेरा मन तुम्हारे साथ कुछ करने का हो रहा है. जल्दी से आ जाओ.’’
अंधा क्या चाहे 2 आंखें. नीरज ने हामी भरते हुए कहा, ‘‘मैं आता हूं तू चौक पर मिलना.’’
इतना कहते ही फोन डिसकनेक्ट कर उस ने घर से जूट के 2 बोरे स्कूटी की डिक्की में रखे और पत्नी से कुछ देर में आने की बोल कर घर से निकल पड़ा. करीब पौने 10 बजे राजू उसे चौक पर ही मिल गया.
नीरज उसे स्कूटी पर बिठा कर शगुन वाटिका मैरिज गार्डन के पीछे रेलवे स्टेशन के नजदीक सुनसान जगह पर ले गया. स्कूटी खड़ी कर अंधेरे का फायदा उठा कर झाडि़यों के बीच घुस कर अपने साथ लाए जूट के बोरे बिछा कर दोनों पास में बैठ गए.
अमावस्या की रात के स्याह अंधेरे का पूरा लुत्फ नीरज उठाना चाहता था, इसलिए अपने कपड़े घुटने के नीचे सरका कर वह राजू के साथ प्रेमालाप करने लगा. मगर उसे पता नहीं था कि आज वह राजू को नहीं, अपनी मौत को सुनसान जगह ले कर आया है.
नीरज और राजू का सैक्स गेम चल ही रहा था कि मनोज उन का पीछा करते हुए दबेपांव वहां पहुंच गया. मनोज ने देखा कि नीरज राजू के ऊपर था, तभी उस ने पीछे से नीरज का गला पकड़ लिया.
नीरज कुछ समझ पाता, इस के पहले राजू भी मनोज का साथ देने लगा. दोनों पूरी ताकत से नीरज का गला दबाने लगे. कुछ ही देर में नीरज छटपटा कर ढेर हो गया. इस के बाद दोनों ने उस के हाथ की नस काट कर और गले को चाकूनुमा कटर से गोद कर इस बात की पूरी तसदीक कर ली कि नीरज जिंदा तो नहीं है.
नीरज की हत्या करने के बाद मनोज और राजू ने उस के शव को उठा कर घनी झाडि़यों के बीच फेंक दिया और नीरज का मोबाइल ले कर उसी की स्कूटी पर सवार हो कर दोनों भाग खड़े हुए.
रात में ही दोनों होशंगाबाद पहुंचे, जहां वे मनोज की बहनबहनोई के घर पर रुके. सुबह होते ही मनोज अपनी बहन से बोला, ‘‘दीदी, हम लोग जरूरी काम से भोपाल जा रहे हैं.’’
स्कूटी वहीं छोड़ कर दोनों बस में सवार हो भोपाल पहुंच गए. दोनों भोपाल के नादिरा बस स्टैंड से कहीं दूर भागने की फिराक में थे, तभी औबेदुल्लागंज थाने के टीआई संदीप चौरसिया की टीम ने उन्हें दबोच लिया.
पकड़े जाने पर उन के पास नीरज की हत्या कुबूल करने के अलावा कोई चारा नहीं था. दोनों ने नीरज की हत्या के पीछे यही कारण बताया कि नीरज उन के सैक्स संबंधों का वीडियो वायरल करने की धमकी दे कर राजू को ब्लैकमेल कर बारबार संबंध बनाने का दबाव डाल रहा था. यह बात मनोज को नागवार गुजरी.
दोनों की निशानदेही पर नीरज की स्कूटी, मोबाइल और हत्या में इस्तेमाल किया गया चाकूनुमा कटर भी बरामद कर लिया. पुलिस ने दोनों को भादंवि धारा 302,120बी के तहत गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया, जहां से मनोज को जेल और राजू को बाल सुधार गृह भेज दिया गया.
गे सैक्स के शौक ने एक शादीशुदा रईस कारोबारी नीरज को मौत की नींद सुला दिया तो मनोज और राजू जैसे नौजवानों को अपराध करने पर मजबूर कर दिया. द्य
—कथा मीडिया रिपोर्ट और पुलिस सूत्रों पर आधारित