Atul Subhash Suicide Case : 34 वर्षीय अतुल सुभाष मोदी बेंगलुरु की एक कंपनी में एआई इंजीनियर था. पत्नी निकिता सिंघानिया भी एक इंजीनियर थी. शादी के 5 साल बाद ही दोनों के बीच ऐसे हालात बन गए कि अतुल को सुसाइड करने पर मजबूर होना पड़ा. उस के 24 पन्नों के सुसाइड नोट में लिखी बातों ने समाज और न्याय व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए. अतुल की आत्महत्या देश में चर्चा का विषय क्यों बन गई?

एआई इंजीनियर अतुल सुभाष मोदी की हिम्मत टूट चुकी थी. अब वह सुसाइड कर जीवन से मुक्त हो जाना चाहता था. इस के लिए उस ने कई  महीने पहले ही प्लान बना लिया था. लेकिन उसे यह कदम उठाने में कुछ महीने की देर हो गई थी. सुसाइड करने से पहले उस ने 2 दिन में अपने सारे कार्यों को सिस्टेमेटिक तरीके से कंप्लीट किया. कहीं कोई काम रह न जाए, इसलिए किए जाने वाले कामों की सूची भी बनाई.

कर्नाटक के बेंगलुरु में स्थित एक बड़ी कंपनी में एआई इंजीनियर 34 वर्षीय अतुल सुभाष मोदी शीर्ष पद पर काम करता था. वह फ्लैट में अकेला रहता था. पत्नी निकिता सिंघानिया दिल्ली की एक आईटी कंपनी में जौब करती थी. अतुल का साढ़े 4 साल का एक बेटा भी था, जो मम्मी के पास रहता था. अतुल सुभाष ने सुसाइड करने से पहले अपने सारे कामों को निपटाने के साथ ही अपने औफिस के काम को भी पूरा किया. उस ने अपने कुक व मेड को भी सैलरी दी. इस के साथ ही बैंक के व अन्य जरूरी कामों को भी निपटाया.

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