3 अक्तूबर, 2021 को जिस दिन उन्होंने शादी करने की सूचना दी, हम उसी दिन नीलिमा परिवार के साथ डिंडोरी पहुंचे, लेकिन मनीष वहां से गायब था. वह यहां सिर्फ पैसे लेने ही आता था.
शादी के बाद ही निशा को अपने पति मनीष पर संदेह होने लगा था, क्योंकि खुद को मनीष की दूसरी पत्नी बताने वाली रश्मि उसे मैसेज कर के कहती थी कि वह उस की पहली पत्नी है. उस के दोनों मोबाइल नंबर से भेजे मैसेज के स्क्रीनशौट्स भी उस ने सेव कर रखे थे.
निशा के परिवार के लोगों को पहले से ही मनीष पर संदेह था. मनीष ने मैट्रीमोनियल साइट पर अपने आप को प्रौपर्टी डीलर बताया था, जबकि वह बस कंडक्टर था. निशा ने उस की प्रोफाइल को सच मान कर घर वालों को बगैर बताए मनीष से शादी कर ली.
शादी के बाद मनीष की असलियत निशा जान चुकी थी, मगर अपने पद और स्टेटस के लिहाज से वह खून का घूंट पी कर रह गई थी. मनीष ने जब अपनी जरूरतों के लिए निशा पर पैसों का दबाव बनाना शुरू किया तो निशा ने एक बार बैंक से लोन ले कर उसे 5 लाख रुपए दिए थे. बाद में वह 15 लाख रुपए मांगने लगा तो निशा ने अपनी बड़ी बहन नीलिमा को बताया तो नीलिमा ने डांटते हुए सख्त हिदायत दे रखी थी कि उसे और पैसे नहीं देना.
मनीष पर परिवार के लोगों के संदेह की वजह यह भी थी कि वह खुद को अखंड समाज पार्टी का अध्यक्ष बताता था और इस नाम का विजिटिंग कार्ड भी उस ने दिया था, परंतु जब परिवार वालों ने अपने स्तर पर उस की पड़ताल की तो पता चला कि यह फरजी है.