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मनप्रीत ने यह घोषित कर दिया था कि वह मनोरोगी है. मनप्रीत एक डाक्टर से दवा ला कर उसे जबरन खिलाता था. कल रात को भी उस ने उसे जबरन गोलियां खिलाई थीं, जिस से वह बेहोशी की हालत में आ कर गहरी नींद सो गई थी.

सुनील कुमार ने मकान मालिक से भी मनप्रीत के बारे में काफी जानकारी हासिल कर ली. मकान मालिक ने 8 साल पहले मनप्रीत को अपना कमरा किराए पर देते वक्त एक रेंट एग्रीमेंट बनवाया था, जिस में मनप्रीत के गांव का पता लिखा गया था. मनप्रीत पटियाला के एक गांव का रहने वाला था. सुनील कुमार ने वह पता नोट कर लिया.

सुनील कुमार ने डीसीपी राणा को फोन द्वारा बता दिया कि रेखा के कत्ल में उस का प्रेमी मनप्रीत संदिग्ध आरोपी है. वह लापता है. राणा ने उन्हें मनप्रीत को गिरफ्तार करने के आदेश दिए.

सुनील कुमार ने नीतू से मनप्रीत का एक फोटो हासिल कर के उस का क्लोजअप अपने स्टाफ के मोबाइल में अपलोड कर दिया. फिर उन्हें मनप्रीत की तलाश में दौड़ा दिया. वहां की आवश्यक काररवाई निपटाने के बाद रेखा की लाश का पंचनामा कर पोस्टमार्टम के लिए भेज दी.

उस कमरे को सील करने के बाद वह राकेश के पास आए और उसे नीतू की देखभाल की जिम्मेदारी संभलवा कर डीसीपी घनश्याम बंसल की ओर बढ़ गए जो अभी भी पुलिस स्टाफ के साथ वहां मौजूद थे.

‘‘इजाजत चाहूंगा सर, मुझे अब कातिल की तलाश में निकलना है.’’ सुनील ने शिष्टाचार से कहा.

‘‘ठीक है, आप अपना काम मुस्तैदी से करें और जल्दी कातिल की गिरफ्तारी की खबर दें.’’ डीसीपी घनश्याम बंसल

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